मरीजों के लिए अस्पताल एक मंदिर के समान होता है… लेकिन वहां अगर मूलभूत सुविधाओं की कमी हो तो वहां मरीज स्वस्थ होकर नहीं बल्कि बीमार होकर ही लौटते हैं। ऐसा ही कुछ देखने को मिलता हैं… सोहना के सामान्य अस्पताल में.. यहां मूलभूत सुविधाओं की कमी तो है ही साथ बंदरों के आतंक ने लोगों का जीना मुहाल कर रखा है। इस अस्पताल में सिर्फ बंदर ही परेशानी का सबब नहीं है। बल्कि यहां पीने के पानी की व्यवस्था भी सुचारू रूप से नहीं है। मरीजों को पीने का पानी भी अस्पताल के बाहर से खरीद कर लाना पड़ता है। सोहना के इस सामान्य अस्पताल में समस्याओं की फेहरिस्त यहीं खत्म नहीं होती है… यहां के शौचालयों की व्यवस्था भी राम भरोसे है … ना तो यहां के शौचलयों में दरवाजे लगे हैं और ना ही यहां की व्यवस्थाएं दुरुस्त हैं। इस बारे में जब अस्पताल के एसएमओ से पूछा गया तो… उन्होनें कुछ इस तरह से सफाई दी। अगर ऐसा मंजर इलाके के सामान्य अस्पताल का होगा… जहां व्यवस्थाओं से ज्यादा बंदर है… मरीज बीमारी से ज्यादा दूसरी सुविधाओं के न होने से परेशान होते हों… ऐसी जगह पर किसी रोगी के ठीक होने के बारे में सोचना सपने जैसा ही है।