सरकारी प्राइमरी स्कूलों में छात्रों को दोपहर में परोसे जाने वाला खाना सिर्फ लापरवाही का अभियान बन कर रह गया है, कभी मिड डे मील के राशन में सुडियां मिलती हैं तो कभी मिड डे मील में मरी हुई छपकली निकलती है….सोमवार को भी बड़ी लापरवाही का नमूना देखने को मिला….सोहना के लाला खेड़ली गांव के सरकारी स्कूल में सोमवार को मिड डे मील के तहत खिचड़ी बनी जिसमें दो मरे हुए चूहे पाए गए….वो तो गनीमत रही ही कि खिचड़ी बच्चों को परोसी नहीं गई वरना हरियाणा में भी बिहार जैसी घटना घट सकती थी…खिचड़ी में मरे हुए चूहे की खबर ने ग्रामीणों को आक्रोशित कर दिया है उधर बच्चे भी अब स्कूल का खाना खाना से डरने लगे हैं। खिचड़ी में चूहे के मरने की खबर से स्कूल प्रशासन में हडकंप मच गया, अध्यापकों ने शिक्षा विभाग को फौरन सूचित कर दिया। स्वास्थ्य विभाग की टीम भी फौरन हरकत में आई और उसने भी मौके पर पहुंच खाने का सैंपल लिया। इस बड़ी लापरवाही की इत्तला जैसे ही शिक्षा विभाग को मिली तो वो भी हरकत में आया और ब्लाक मौलिक शिक्षा अधिकारी ने मौके का मुआयना किया। उधर इस्कॉन कंपनी के अधिकारी पूरे मामले से अपना पल्ला झाड़ रहे हैं। ये कोई पहला मौका नहीं है जब मिड डे मिल में लापरवाही बरती गई हो….इससे पहले भी कई दफा प्रदेश में अलग अलग जगहों पर मिड डे मिल में लापरवाही बरतने कि शिकायतें आती रही हैं।

By admin